कविताओं के बाद घना अंधेरा है
कविताएँ ही शाम हृदय के आँगन की
कविताएँ ही खिलता हुआ सवेरा हैं
कविताओं में जीवन है अपनापन है
कविताएँ ही होने का एहसास तेरे
कविताओं को देखो गहन समंदर हैं
कविताएँ हैं तो तुम अक्सर पास मेरे
कविताओं में एक गज़ब की खुश्बू है
कविताएँ हैं जीवन की महबूब मेरी
कविताओं के बिन जीवन है व्यर्थ मेरा
कविताएँ हैं सर्द माह में धूप मेरी
कविताएँ हैं सपना इक , इक ख्वाब मेरा
कविताओं में रहना जीवन जीना है
कविताएँ ही उन्नति का संदेश यहाँ
कविताएँ ही जीवनभँवर सफीना हैं
कविताओं में प्यार सदा देखा मैंने
कविताएँ हैं सम्बल, हैं जज़्बात मेरे
कविताएँ मेरे जीवन की दुल्हन हैं
कविताएँ ही सुख दुःख में हैं साथ मेरे
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